23जून को अल्मोड़ा से चली गुरिल्ला जनजागरण रथयात्रा आज चिन्यालीसौड़ पहुंची, चिन्यालीसौड़ में नागराजा मंदिर में पूजा-अर्चना के बाद नीलकंठ नागड़ी में गुरिल्लों को संबोधित करते हुए संगठन के केन्द्रीय अध्यक्ष ब्रह्मा नन्द डालाकोटी ने कहा कि गुरिल्लों को पुनः एक सूत्र में पिरोने तथा मजबूत संगठन से मजबूती के साथ अपना पक्ष सरकार में रखने के लिए यह जनजागरण रथयात्रा निकाली गयी है गुरिल्ला आंदोलन को 17वर्ष हो गये हैं कभी कौराना,कभी हमारे साथियों में ही सरकार द्वारा बार बार किये गये सत्यापन से फैली गलतफहमियों से संगठन कमजोर हो रहा है इसका लाभ उठाते हुए कुछ स्वार्थी तत्व कभी हाई कोर्ट,कभी सुप्रीम कोर्ट के नाम से भारी भरकम धनराशि वसूल कर रहे हैं इसलिए सबको सत्यता बताकर लूट से बचाना भी जरूरी है। संगठन की ताकत और गुरिल्लों के राष्ट्र को दिये योगदान,आज भी गुरिल्लों की उपयोगिता को बताना इस यात्रा का महत्वपूर्ण पहलू है। आतंकवाद, अलगाववाद के खात्मे, सीमाओं से विदेशी नागरिकों ,अवैध सामान की आवाजाही रोकने में स्थानीय लोगों से बनी यह अचूक सीमा सुरक्षा प्रणाली है जिसने समय समय पर यह सिद्ध किया है। महाबीर रावत ने संगठन की एकता और उग्र आंदोलन की रणनीति बनाने का आह्वान किया बैठक, जगमोहन भंडारी, जयसिंह विष्ट , हीरा सिंह,इन्द्रपाल राणा,सुमेरसिंह पवार,कीड़ी देवी,नीमा देवी आदि सहित काफी संख्या में गुरिल्ले उपस्थित थे।

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